जैसा शिवी गोयल को बताया गया
उसे प्यार ना करने का कोई कारण नहीं था, जब हमारा संबंध शुरू हुआ, वह उसी दिन से मेरे लिए पूरी तरह उपयुक्त लगा। मैं अपने कार्यस्थल पर आकाश से मिली; वह एक अच्छा और सौम्य पुरूष था, कार्यालय में हम सभी सहकर्मियों के बहुत करीब था। मैं कंपनी में नई थी। हम दोस्त बन गए। हमने पल, काम, आनंद, दर्द और बहुत सारी यात्राएं साझा की। उससे मिलना और बेहतर और करीब से जानना अच्छा था। और फिर मुझे पता चला कि वह विवाहित था।
मैं उसके करीब आ गई; हमारा बंधन बहुत श्रेष्ठ था और हम बहुत करीबी और मैत्रीपूर्ण संबंध में खिंचे चले गए (शायद दोस्ती से थोड़ा अधिक) तब तक यह एक प्रतिबद्ध प्रेम नहीं था, लेकिन यह भूलने लायक भी नहीं था। उसका मज़ाकिया हास्य मुझे खुश किया करता था; हम दोनों को गेजेट्स, संगीत, यात्रा और पार्टी करना पसंद थी। वह मुझसे तीन वर्ष बड़ा था और मुझे पूरे समय उससे लिपटने का मन होता था।
यह जानकर की वह विवाहित था और उसका परिवार था, मैं स्वयं को उसके पास जाने से रोक सकती थी, लेकिन कभी-कभी कुछ बातों का होना लिखा होता है….मैं अपने मन के साथ चल पड़ी।
मेरे लिए यह यौन या अंतरंग संबंध नहीं था, लेकिन ऐसा कुछ जिसमें मैं गहरी, भावनात्मक रूप से, और सहानुभूतिवश डूब गई। आश्चर्य उसकी ओर से आया। एक दिन हम व्यवसायिक बैठक के लिए यात्रा कर रहे थे। उसने एक हमेशा की मित्रता का प्रस्ताव रखा। उसने कहा ‘‘मैं तुम्हारे बगैर नहीं रह सकता, लेकिन मैं तुम्हारे साथ भी नहीं रह सकता। लेकिन क्या तुम प्लीज़ मेरे साथ खुले संबंध में रह सकती हो जहां तुम्हारी आत्मा मेरी आत्मा से मिले (मैं इसे नाम नहीं दे सकता और
ना ही शब्दों में समझा सकता हूँ)’’ मेरे रांगटे खड़े हो गए -एक पल के लिए मेरे दिल ने कहा, ‘‘वाह, मैं हमेशा से यही चाहती थी!’’ मुझे उसका प्यार बनने से स्वंय को रोकना पड़ा क्योंकि मैं उसके विवाह को नुकसान पहुंचाना नहीं चाहती थी। लेकिन मैंने उसकी बेस्टफ्रेंड बनना स्वीकार कर लिया, क्योंकि मैं उससे प्यार करती थी।
वह ऐसा समय था जब सुबह से रात तक मेरे फोन में केवल उसी का नाम होता था। हम उसके विवाहित जीवन और उसकी पत्नी के बारे में भी बातें करते थे। लेकिन कहानी दुखद थी; वह समझ नहीं पा रहा था कि वह शादी से क्या चाहता है। यह उसके लिए एक समझौता था, इसलिए संबंध उसे दिलों की एकजुटता, साथ सा मित्रता नहीं देता था।
महीने बीत गए, और धीरे-धीरे मुझे अहसास हुआ कि मैं उसके बगैर नहीं रह सकती। मैं जानती हूँ कि यह गलत था, लेकिन उसके आसपास होने पर मुझे पूर्णता का अहसास होता था। वह मेरा कवच था। मैं कभी नहीं चाहती थी कि वह अपना विवाह तोड़ दे, लेकिन मैं उससे अलग रहना भी कभी नहीं चाहती थी।
और फिर यह बस समाप्त हो गया। उसने मेरे साथ संबंध तोड़ दिया। हमारा चार वर्ष का संबंध बिना कोई कारण दिए समाप्त हो गया।
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मैं एक कॉफी शॉप में अकेली बैठी थी, वह आया, और बस कहा कि हमें संबंध समाप्त कर लेना चाहिए।
मेरे लिए और उसके प्रति मेरे प्यार के लिए उसकी चुप्पी एक अपमान थी। कम से कम उसे मुझे एक जवाब देना तो बनता था।
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यह तीन वर्ष पहले हुआ था। मैं अब भी अक्सर उसके बारे में सोचती हूँ, लेकिन उसने जो मेरे साथ किया उसके लिए मैं उससे नफरत करती हूँ। इसके अलावा, क्योंकि मुझे मेरे उत्तर और संबंध तोड़ने का कारण नहीं मिले हैं, यह डरावना और क्लॉस्ट्रफोबिक है। वह आगे बढ़ चुका है लेकिन मैं अब भी अविवाहित हूँ, शायद इसलिए क्योंकि मुझे संबंध विच्छेद और संबंध को संभालना मुश्किल लग रहा है। मुझे नहीं पता कि किसे दोष दूं और क्या करूं।
वह चीज़ जिसका मुझे इंतज़ार है, मरने से पहले एक बार उसकी आंखों में देखना….और कारण जानना। शायद तब मैं संतुष्ट हो जाऊंगी और आगे बढ़ जाऊंगी….शायद।
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